जंगल के सारे वृक्ष काट दिए गये हैं सभी जानवरों का शिकार कर लिया गया है
फिर भी इस बसन्त में मिट्टी में धँसी जड़ों से पचखियाँ झाँक रही हैं
और पास की झुरमुट में एक मादा खरगोश ने दो जोड़े उजले खरगोश को जन्म दिया है
हिंदी समय में विमलेश त्रिपाठी की रचनाएँ